[बच्चे की कस्टडी पर बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका] सबसे महत्वपूर्ण विचार बच्चे की भलाई है, सुप्रीम कोर्ट ने दोहराया

नाबालिग बच्चे की कस्टडी के मामले के संबंध में बंदी प्रत्यक्षीकरण की रिट जारी करते समय सबसे महत्वपूर्ण विचार, बच्चे की भलाई, सुप्रीम कोर्ट ने दोहराया है। शीर्ष अदालत एक पिता द्वारा हाईकोर्ट की लगाई गईं शर्तों के खिलाफ अपील पर विचार कर रही थी जो उसे बच्चे को वापस संयुक्त राज्य अमेरिका ले जानेContinueContinue reading “[बच्चे की कस्टडी पर बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका] सबसे महत्वपूर्ण विचार बच्चे की भलाई है, सुप्रीम कोर्ट ने दोहराया”

मुवक्किल के निर्देश पर पेशेवर रूप से काम करने वाले वकील को मानहानि के अपराध के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता : मद्रास हाईकोर्ट

मद्रास हाईकोर्ट ने कहा है कि अपने मुवक्किल के निर्देश के अनुसार पेशेवर रूप से काम करने वाले वकील को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 500 के तहत मानहानि के अपराध के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता, जब तक कि निर्देश के प्रतिकूल कदम उठाये जाने का उसके खिलाफ लगाया गया आरोप स्थापितContinueContinue reading “मुवक्किल के निर्देश पर पेशेवर रूप से काम करने वाले वकील को मानहानि के अपराध के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता : मद्रास हाईकोर्ट”

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